वर्तमान
*वर्तमान*
मै भगवान के ऊपर कुछ नहीं छोड़ता हूँ..
उनके प्रति सच्ची श्रधा और विश्वास रखता हूँ
अन्दर एक शक्ति पा के वर्तमान से लड़ता हूँ
वर्तमान मेरा आईना है
वर्तमान ही मेरी पहचान...
मै भगवान के ऊपर कुछ नहीं छोड़ता हूँ
कियोंकी वर्तमान से बहुत कुछ सीखता हूँ और
वर्तमान को सजाता हूँ संवरता हूँ
अपने वर्तमान से लड़ता हूँ और भविष्य के प्रति
आशावान रहता हूँ...
यह जानते हुए की मैं वर्तमान में सभी को खुश
नहीं रख सकते
फिर भी मैं वर्तमान से लड़ता हूँ
अपने कर्म,अपना धर्म,अपना कर्तव्य यथा संभव
निभाता हूँ....
मै भगवन के ऊपर कुछ नहीं छोड़ता हूँ.....
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